लखनऊ। नवयुग कन्या महाविद्यालय के हिंदी विभाग की संस्था नवज्योतिका और काव्योम संस्था के संयुक्त तत्वावधान में 14 सितंबर को हिंदी दिवस के अवसर पर एक संगोष्ठी आयोजित की गई, जिसमें मुख्य अतिथि प्रो सुरेन्द्र विक्रम, हिंदी विभाग लखनऊ क्रिश्चियन कॉलेज एवं प्रो अलका पांडे, हिंदी विभाग लखनऊ विश्वविद्यालय उपस्थित रहीं। संगोष्ठी का विषय था हिंदी कल आज और कल कार्यक्रम का प्रारंभ दीप प्रज्वलन और सरस्वती मां की वंदना से हुआ। अतिथियों का स्वागत पौध और उत्तरीय देकर किया गया। स्वागत उद्बोधन में महाविद्यालय की प्राचार्या प्रो मंजुला उपाध्याय ने कहा कि हमारी भाषा हमें संस्कार और अनुशासन सिखाती है। हिंदी वह भाषा है जो सबको जोड़ती है। हिंदी को बोलने में हीन भावना नहीं आनी चाहिए क्योंकि जीवन जीने का आनंद नैसर्गिक रूप में हैं और भाषा हमें भाव से जोड़ती है।
कार्यक्रम की मुख्य वक्ता प्रो अलका पांडे ने कहा कि पहले राजभाषा दिवस मनाया जाता था किंतु जैसे – जैसे हम पश्चिमी सभ्यता की ओर अग्रसर हुए तो हमे दिवस मनाने की आवश्यकता पड़ी । संस्कृत ,पाली , प्राकृत, अपभ्रंश हमारी राजभाषाएं रहीं। गांधी जी , मालवीय जी तिलक ,राजा राममोहन राय आदि ने भाषाई अंतर को छोड़कर हिंदी की बात की। आज नयी शिक्षा नीति में मातृभाषा पर बल दिया जा रहा है यदि स्वतंत्रता के समय ही अंग्रेजी की पराधीनता से मुक्त हो जाते तो आज हिंदी हमारी राष्ट्रभाषा बन जाती। किंतु रोजी रोटी और आय से अंग्रेजी जुड़ गयी इसीलिए विवशता है। आज भी आहार आय और आवागमन की भाषा हिन्दी है मुख्य अतिथि प्रो सुरेन्द्र विक्रम ने कहा कि एक दिमाग को चुस्त रखने वाली भाषा हिन्दी है । हिंदी भाषा की लिपि सरल है उच्चारण निर्दोष है। हिंदी उल्लास की भाषा है। इसमें अलंकारिकता है सौंदर्य है गद्य और पद्य की अलग अलग व्यवस्था है। उन्होंने कहा जो सीखते हैं वह भाषा है और जो पढ़ाते हैं वह व्याकरण है। उन्होंने कुछ शब्दों का उदाहरण देते हुए समझाया कि तांडव शब्द का अर्थ शिव का तीसरा नेत्र खुलने से है इसी प्रकार मोहर्रम की बधाई नहीं दी जाती। अंत में धन्यवाद ज्ञापन हिंदी विभाग की अध्यक्ष प्रो मंजुला यादव ने दिया। हिंदी विभाग द्वारा आयोजित विभिन्न प्रतियोगिताओं में विजेताओं को पुरस्कृत भी किया गया कार्यक्रम का संचालन काव्योम के अध्यक्ष जय सिंह ने किया। इस अवसर पर हिंदी विभाग की प्रो अमिता रानी सिंह,डा अपूर्वा अवस्थी, अंकिता पांडे, मेघना यादव एवं महाविद्यालय की सभी प्रवक्ताएं और छात्राएं उपस्थित रहीं।