लखनऊ। अखिलेश यादव ने कहा, ‘बीजेपी 2022 के यूपी विधानसभा चुनाव में जीत हासिल नहीं कर पाती अगर दिल्ली से उनके नेता प्रचार के लिए यूपी नहीं आते। अगर यह काम यूपी के नेताओं पर छोड़ दिया जाता, तो यूपी के मतदाता बीजेपी को हरा देते। समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने आज कहा कि उत्तर प्रदेश में इंडिया गठबंधन की पार्टियों के बीच सीटों के बंटवारे को ‘बहुत जल्द अंतिम रूप दिया जाएगा।’ उनकी यह टिप्पणी सपा और कांग्रेस नेताओं के बीच सीट बंटवारे पर बातचीत बेनतीजा रहने के मद्देनजर आई है। आज यहां दिनभर चले इंडिया टीवी संवाद कॉन्क्लेव में सवालों का जवाब देते हुए अखिलेश यादव ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि यूपी में सीट बंटवारे को जल्द ही अंतिम रूप दे दिया जाएगा। चुनाव के लिए हमारे पास मुश्किल से 100 दिन बचे हैं। हमारे पास ज्यादा समय नहीं है। हमें तुरंत जमीनी स्तर पर काम करना होगा। मैं इंडिया गठबंधन की मीटिंग में तभी जाऊंगा जब यूपी में सीटों के बंटवारे पर सहमति बन जाएगी….देश का प्रधानमंत्री कौन बनेगा इसकी चाबी यूपी की जनता के पास है जहां से 80 सांसद चुने जाते हैं।
राहुल गांधी की भारत जोड़ो न्याय यात्रा पर अखिलेश यादव ने कहा, ‘हर पार्टी को यात्रा निकालने का अधिकार है। हम भी यात्रा निकालते हैं। इसमें कुछ भी गलत नहीं है। लेकिन कांग्रेस नेता हमें अपने कार्यक्रमों में नहीं बुलाते हैं।’ बीएसपी प्रमुख मायावती के अकेले चुनाव लड़ने के फैसले पर अखिलेश यादव ने कहा, ‘हर पार्टी को यह तय करने का अधिकार है कि किसके साथ गठबंधन करना है।’ उन्होंने बताया कि 2019 के चुनाव में गठबंधन करने और मायावती को पीएम उम्मीदवार के रूप में पेश करने के बाद बीएसपी ने लोकसभा की 10 सीटें जीती थी, लेकिन विधानसभा चुनाव में उन्हें केवल एक सीट मिली और वह भी इसलिए क्योंकि उम्मीदवार मजबूत था। उन्होंने विश्लेषकों की इस थ्योरी को खारिज कर दिया कि बीएसपी को गठबंधन में सीटें नहीं मिलती हैं क्योंकि उसके वोट गठबंधन वाले दल को ट्रांसफर हो जाते हैं। लेकिन गठबंधन वाले दल के वोट बीएसपी में ट्रांसफर नहीं हो पाते हैं।