चंद्रयान-3 अंतरिक्ष यान की सॉफ्ट लैंडिंग चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुवीय क्षेत्र में होगी। रूस के लूना-25 अंतरिक्ष यान के भी उसी क्षेत्र में सॉफ्ट-लैंडिंग करने का अनुमान है। अभी तक किसी भी देश ने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुवीय क्षेत्र पर सॉफ्ट लैंडिंग नहीं की है। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने अपने ऐतिहासिक मिशन चंद्रयान-3 पर नए अपडेट साझा किए हैं। अंतरिक्ष यान धीरे-धीरे चंद्रमा के करीब पहुंच रहा है। चंद्रयान-3 23 अगस्त को चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव क्षेत्र में अपना पहला सॉफ्ट-लैंडिंग प्रयास करेगा। वर्तमान में विक्रम लैंडर और प्रज्ञान रोवर से युक्त चंद्रयान-3 के लैंडर मॉड्यूल ने सफल डीबूस्टिंग के बाद अपनी कक्षा को घटाकर 113 किमी ७ 157 किमी कर दिया है। दूसरा डीबूस्टिंग आॅपरेशन 20 अगस्त, 2023 को दोपहर 2 बजे के आसपास निर्धारित है। इस साल 14 जुलाई को लॉन्च किया गया, चंद्रयान-3 चंद्रयान-2 का अनुवर्ती मिशन है। चंद्रयान-3 अंतरिक्ष यान की सॉफ्ट लैंडिंग चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुवीय क्षेत्र में होगी। रूस के लूना-25 अंतरिक्ष यान के भी उसी क्षेत्र में सॉफ्ट-लैंडिंग करने का अनुमान है। अभी तक किसी भी देश ने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुवीय क्षेत्र पर सॉफ्ट लैंडिंग नहीं की है। हालाँकि, अतीत में अमेरिका, चीन और रूस द्वारा चंद्रमा के विषुवतीय क्षेत्र में सॉफ्ट-लैंडिंग की गई है। चंद्रयान-2 की गलती से सीख लेते हुए चंद्रयान-3 अंतरिक्ष यान का लैंडिंग क्षेत्र 4 किमी ७ 2.5 किमी तक बढ़ा दिया गया है।